News portals-सबकी खबर (नाहन )
सिरमौर में लोगो की शरीरिक रोग-प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के लिए कल से 72 हजार होम्योपैथिक एम्यूनिटी बूस्टर दवा आसेनिकम एल्बम-30 वितरित की जाएगी। यह जानकारी उपायुक्त सिरमौर डॉ0आर0के0परूथी ने दी।
उन्होने बताया कि इस एम्यूनिटी बूस्टर आसेनिकम एल्बम-30 का वितरण अधिक संक्रमण पाये जाने वाले विकास खण्ड नाहन में 20 हजार और पांवटा साहिब में 20 हजार शीशीयॉ वितरित की जाएगी जबकि कोरोना संक्रमण के कम केस वाले विकास खण्ड में सें राजगढ में 8 हजार, शिलाई में 8 हजार और संगडाह में 8 हजार शीशीयॉ वितरीत की जाएगी।
उन्होने बताया कि जिला प्रशासन द्वारा दोबारा से हर घर तक एम्यूनिटी बूस्टर आसेनिकम एल्बम -30 पहूंचाने का निर्णय लिया है ताकि लोगो की एम्यूनिटी बढाई जा सके और कोरोना पॉजीटीव आए लोगो की रिकवरी में भी यह दवाई सहायक सिद्ध हो सके। उन्होने बताया कि सितम्बर व अक्तूबर माह में लगभग एक लाख से ज्यादा लोगो में यह दवाई आशा वर्करो के माध्यम से वितरित की गई थी जिसके सार्थक परिणाम सामने आए है।
उन्होने बताया कि एक आसेनिकम एल्बम-30 में 120 से अधिक गोलियां होती है यदि एक परिवार में छः सदस्य हो तो एक शीशी एक महीने के लिए उस परिवार के लिए प्रर्याप्त होगी। यदि किसी परिवार को यह दवाई उपलब्ध नही होती है तो वह सम्बन्धित उप मण्डलाधिकारी से सम्पर्क कर सकते है।
उन्होने बताया कि जिला प्रशासन का प्रयास है कि आसेनिकम एल्बम-30 जिला के हर घर में मुहैया करवाई जाए ताकि कोरोना वैक्सीन उपलब्ध होने तक जिला वासियांे में कोरोना से लडने की क्षमता बनी रहे। डॉ0परूथी ने बताया कि यह दवा कोविड-19 संक्रमण का ईलाज नहीं है। यह केवल शरीर में शरीरिक रोग-प्रतिरोधक क्षमता को बढाती है इसलिए कोविड-19 संक्रमण से बचने के लिए अन्य सावधानियों जैसे सामाजिक दूरी बनाएं रखना, बार-बार हाथ धोना व मास्क पहनना भी अत्यन्त आवश्यक है।
उन्होेने बताया कि इस दवा की 6 गोलियां सुबह खालीपेट एक बार तीन दिन तक वयस्कों के लिए, 3 गोलियां सुबह खालीपेट एक बार तीन दिन तक 4 वर्ष से कम आयु के बच्चों के लिए दी जा सकती है। इसके अतिरिक्त एक महीने के बाद चिकित्सक केे परामर्श कर इसे दोबारा ले सकते है। यह दवा अन्य किसी भी दवा के साथ ली जा सकती है, यह बच्चों, गर्भवती महिलाओं एवं दूध पिलानेवाली माताओं के लिए भी सुरक्षित है। इस दवा के कोई साईड इफेक्ट नहीं है।
उन्होंने बताया कि कोविड-19 जैसे संक्रमण से लडने के लिए शरीरिक रोग-प्रतिरोधक क्षमता की भूमिका अहम होती है। हम अपने शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाकर इस संक्रमण से अपने जीवन को बचा सकते है।
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