News portals -सबकी खबर (शिमला )
एमर्जेंसी लगने की अफवाहों के बीच प्रदेश भर में खाद्य पदार्थों की जमाखोरी शुरू हो गई है। राजधानी शिमला सहित कई बड़े कारोबारियों ने अपनी दुकान व स्टोर के शटर डाउन कर लिए हैं। सोशल मीडिया पर फैलाई जा रही इन अफवाहों से पुलिस प्रशासन ने बचने की सलाह दी है। राज्य पुलिस ने अपने व्हाट्सऐप ग्रुप पर लिखा है| कि इस तरह की अफवाहें फैलाने वालों को जेल भेजा जाएगा। बावजूद इसके अफवाहों के झांसे में आकर लोगों ने आटा-चावल की खरीददारी के लिए जद्दोजहद शुरू कर दी है। इस कारण किराना दुकानों के बाहर पिछले दो दिनों से लंबी-लंबी कतारें देखने को मिल रही हैं।
शिमला शहर का सबसे चर्चित खाद्यान्न लीलाधर स्टोर गुरुवार को बंद रहा। इस स्टोर से लोगों ने बुधवार शाम तक खरीददारी की थी। इसके अलावा संजौली, खलीनी, विकासनगर, भट्टाकुफर तथा गंज बाजार में खाद्यान्न पदार्थों की खरीददारी को लेकर मारामारी का माहौल बना रहा। कमोवेश यही स्थिति प्रदेश के दूसरे स्थानों पर भी बनी हुई है। जाहिर है कि सोशल मीडिया पर भारत बंद और एमर्जेंसी की अफवाहें फैलाई जा रही हैं। यही कारण है कि प्रदेश के लोग सभी कामों को छोड़कर राशन की खरीददारी में जुट गए हैं। कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए राज्य सरकार प्रदेश के लोगों को सतर्क व जागरूक कर रही है। इस कड़ी में सरकार ने जनहित में कई बड़े फैसले लिए हैं। इसके तहत प्रदेश के शिक्षण संस्थानों को बंद कर दिया गया है।
हिमाचल प्रदेश में आने वाले पर्यटकों के प्रवेश पर रोक लगा दी है। लोगों को अपनी आवाजाही कम करने की सलाह दी गई है। इसी बीच कुछ असामाजिक तत्व तरह-तरह की अफवाहें फैलाकर माहौल को खराब करने में जुटे हैं। नतीजतन सभी लोग आटा-चावल सहित दूसरे खाद्यान्नों को खरीदने के लिए जगह-जगह भटक रहे हैं। सूचना है कि गुरुवार शाम तक कई दुकानों पर आटा-चावल मनमाने दामों पर बिक रहा था। सबसे ज्यादा जमाखोरी और मुनाफाखोरी आटा-चावल, तेल व दालों को लेकर हो रही है। इसी कारण पुलिस प्रशासन ने लोगों को अफवाहों पर ध्यान न देने की कड़ी हिदायत दी है।
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