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November 23, 2024

प्रदेश के स्कूलों में अप्रैल 2023 से राष्ट्रीय शिक्षा नीति का पाठ्यक्रम पढ़ाया जाएगा

News portals-सबकी खबर (शिमला)

राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद  और जिला शिक्षण एवं प्रशिक्षण संस्थान (डाइट) पाठ्यक्रम में बदलाव का मसौदा (स्टेट करिकुलम फ्रेमवर्क) तैयार करेंगे। अगस्त 2022 तक एनसीईआरटी से नए पाठ्यक्रम की मंजूरी ली जाएगी। पाठ्यक्रम में बदलाव की यह तैयारी 15 साल बाद शुरू हुई है।शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर की अध्यक्षता में राज्य सचिवालय में राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने के लिए आयोजित समीक्षा बैठक में यह फैसला लिया गया है। एससीईआरटी के माध्यम से 30 अप्रैल 2022 से पहले स्टेट करिकुलम फ्रेमवर्क का मसौदा एनसीईआरटी को भेजा जाएगा। अप्रैल 2023 तक नई पाठ्य पुस्तकें छात्रों को उपलब्ध करवा दी जाएंगी|

एससीईआरटी ने इस कार्य के लिए टीमों का गठन कर लिया है। करिकुलम फ्रेमवर्क टास्क फोर्स की एक दिन की कार्यशाला आगामी सप्ताह में आयोजित की जाएगी। विषय के अनुसार पाठ्य चर्या निर्माण के लिए विषय विशेषज्ञों को चिह्नित कर उनकी सूची एससीईआरटी की ओर से एक माह में तैयार की जाएगी। इसमें इंडियन नॉलेज सिस्टम को वरीयता दी जाएगी।450 स्कूलों में दी जाएगी प्री स्कूल वोकेशनल शिक्षाशिक्षा मंत्री ने बताया कि प्री स्कूल वोकेशनल शिक्षा लागू करने के लिए एक माह के भीतर सभी स्कूलों की स्किल मैपिंग कर दी जाएगी। इस वर्ष 450 स्कूलों में व्यावसायिक शिक्षा दी जाएगी। इसके लिए केंद्र ने फंड दे दिए हैं। छठी से आठवीं कक्षा के विद्यार्थियों को दस दिन की व्यावसायिक शिक्षा या तो स्कूल परिसर में दी जाएगी या स्थानीय कारीगरों के पास भेजा जाएगा।

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