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प्रदेश के दुर्गम इलाकों में बिजली पहुंचाने की कवायद धीमी पड़ गई है। कांगड़ा और कुल्लू जिलों में प्रस्तावित सौर ऊर्जा के 226 कनेक्शन में से 74 ही स्थापित हो पाए हैं। इनमें सबसे ज्यादा संख्या कुल्लू जिला में है। यहां तीन गांव में 250 किलोवाट के सभी 58 कनेक्शन स्थापित कर दिए हैं, जबकि कांगड़ा के बड़ा भंगाल में पिछले छह महीनों के दौरान 168 में से 18 कनेक्शन लगाए जा सके हैं।
प्रदेश के अति दुर्गम क्षेत्र बड़ा भंगाल में सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापित करने की कवायद धीमी पड़ गई है। करीब छह महीने पूर्व यहां सौर ऊर्जा के 168 पैनल हेलिकाप्टर की मदद से पहुंचाए गए थे, लेकिन अभी तक महज 18 संयंत्र ही स्थापित हो पाए हैं। अभी भी 150 घर ऐसे हैं, जिनमें बिजली नहीं लग पाई है। इन ग्रामीणों के पास अब महज तीन महीने का वक्त रह गया है और सितंबर के बाद बर्फबारी शुरू होते ही बड़ा भंगाल आगामी छह माह के लिए शेष दुनिया से कट जाएगा और यहां किसी भी तरह की विकासात्मक गतिविधि को पूरा नहीं किया जा सकेगा। इस बारे में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से भी ग्रामीण गुहार लगा चुके हैं। दरअसल, बड़ा भंगाल में 250 किलोवाट क्षमता के संयंत्र स्थापित किए जाने हैं।इसके लिए पिछले साल अक्तूबर महीने में हेलिकाप्टर की मदद से सौर पैनल बड़ा भंगाल पहुंचाए गए। हालांकि इसके बाद बर्फबारी होने की वजह से काम सुचारू रूप से नहीं चल पाया। मार्च के बाद हिमऊर्जा विभाग ने यहां काम शुरू किया है और अब तक 18 घरों में बिजली कनेक्शन लगाए जा चुके हैं। अन्य घरों में जल्द ही कनेक्शन लगाए जाने की बात कही जा रही है।
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