News portals-सबकी खबर (शिलाई)
शिलाई विधानसभा के अंतर्गत आने वाले क्षेत्र जैलभोज में कांग्रेस का पुश्तैनी गढ़ माना जाता है। इस क्षेत्र से हर बार कांग्रेस को रिकार्ड तोड बढ़त चुनाव के दौरान मिलती रही है। लेकिन कांग्रेस द्वारा की गई क्षैत्र की अनदेखी और विकास के नाम पर गुमराह करने वाली नीति इस बार लोगों को रास नहीं आ रही है। खासकर इस क्षेत्र का युवा वर्ग,जो विकास के लिए मतदान करने के मुड़ में नजर आ रहा है। हमारी टीम की पड़ताल द्वारा जैलभोज क्षेत्र में पाया गया कि एससी बोटरों पर गुमराह करने वाली नीतियों का जादू नही चल पाया है। यहां पहले से विपरीत बदलाव देखने को मिल रहा है। युवा वर्ग इस बार जनजातीय क्षेत्र होने के चलते विकास के नाम पर बोट देने के लिए पार्टी की नीतियों से ऊपर उठकर कार्य करने वाला है। देखिए क्या कह रहे है जैलभोज क्षेत्र के युवा जैलभोज क्षेत्र के युवाओं की माने तो मौजूदा समय में डबल इंजन की सरकार ने क्षेत्र में विकास के नए आयाम स्थापित किए है।सरकार ने पांच सालों में सड़क, शिक्षा, स्वास्थ्य की हालत को पहले से बेहतर बनाने की कोशिश की है। वही गिरपार को जनजातीय क्षैत्र का दर्जा देने के लिए, केंद्र सरकार की कैबिनेट ने मंजूरी दी है। इसलिए जैलभोज क्षेत्र, विकास के साथ खड़ा है। क्षैत्र की महिलाओं को गैस जुल्ला, रसोई में पानी का नल सहित महिलाओ की के सुविधाओं को देखते हुए महिला मंडल भवनों का निर्माण करवाया है। अलबत्ता कांग्रेस के पुश्तैनी गढ़ में मौजूदा सरकार का विकास चुनावी मुश्किलें पैदा कर रहा है। शिलाई विधानसभा में हमारी पड़ताल के अनुसार लगभग सभी इलाकों में सम्मान विकास होने की बातें सामने आई है।जैलभोज क्षैत्र की पांच पंचायतों में कांग्रेस का पुश्तैनी क्षेत्र है। लेकिन जनजातीय होने के फायदो से लोग खुद को लाभान्वित महसूस कर रहे है। यहाँ युवाओं में विकास को लेकर अधिक जोश नजर आ रहा है। इसलिए यहां कांग्रेस के गढ़ में भाजपा की सेंधमारी, चुनावी मैदान में सटीक लगती नजर आ रही है। यहां क्षैत्र की जनता किसे गिराती है और किसे उठाती है। इस बात की पुष्टि चुनावी नतीजे देने वाले है।
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