Breaking News :

मौसम विभाग का पूर्वानुमान,18 से करवट लेगा अंबर

हमारी सरकार मजबूत, खुद संशय में कांग्रेस : बिंदल

आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद 7.85 करोड़ रुपये की जब्ती

16 दिन बाद उत्तराखंड के त्यूणी के पास मिली लापता जागर सिंह की Deadbody

कांग्रेस को हार का डर, नहीं कर रहे निर्दलियों इस्तीफे मंजूर : हंस राज

राज्यपाल ने डॉ. किरण चड्ढा द्वारा लिखित ‘डलहौजी थू्र माई आइज’ पुस्तक का विमोचन किया

सिरमौर जिला में स्वीप गतिविधियां पकड़ने लगी हैं जोर

प्रदेश में निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण निवार्चन के लिए तैयारियां पूर्ण: प्रबोध सक्सेना

डिजिटल प्रौद्योगिकी एवं गवर्नेंस ने किया ओएनडीसी पर क्षमता निर्माण कार्यशाला का आयोजन

इंदू वर्मा ने दल बल के साथ ज्वाइन की भाजपा, बिंदल ने पहनाया पटका

November 22, 2024

भांग का पौधा एक करिश्माई पौधा है जिससे बनते हैं हजारों उत्पाद -जगत सिंह नेगी

News portals -सबकी खबर (शिमला ) राजस्व, बागवानी व जनजातीय विकास मंत्री एवं  औषधीय व औद्योगिक उपयोग हेतु भांग की खेती को वैधता प्रदान करने की समिति के अध्यक्ष जगत सिंह नेगी ने कहा कि भांग का पौधा एक करिश्माई पौधा है जिसका प्रत्येक भाग उपयोग में लाया जा सकता है तथा इससे हजारों उत्पाद भी तैयार होते हैं। जगत सिंह नेगी आज जिला सिरमौर के राजगढ में हिमाचल प्रदेश में औषधीय व औद्योगिक उपयोग के लिए भांग की खेती को वैधता प्रदान करने के सम्बन्ध में प्राधिकृत समिति द्वारा आयोजित बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे।  उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भांग के पौधे की उपयोगिता को ध्यान में रखते हुए कमेटी को दायित्व सौंपा है कि भांग की खेती को किस प्रकार वैधता प्रदान कर इसका उपयोग करने की दिशा में कदम आगे बढ़ाया जा सके ।
राजस्व मंत्री ने कहा कि यह समिति अनेक राज्य व प्रदेश के विभिन्न जिलों में दौरा कर चुकी है उन्होंने कहा कि जो भी नीति बनेगी उसमें भांग का इस्तेमाल कहीं भी नशे के लिए नहीं होगा । उन्होंने कहा कि भांग की खेती के लिए  बीज सरकार उपलब्ध करवाएगी जिसमें नशा न के बराबर होगा तथा इसके उत्पादन के लिए बाकायदा लाइसेंस दिए जाएंगे खेती करने की नीति बनाते समय सभी सामाजिक व विधिक पहलुओं को ध्यान में रखा जाएगा।
राजस्व मंत्री ने सिरमौर जिला के विभिन्न पंचायती राज संस्थाओं के प्रतिनिधियों से इस महत्वपूर्ण विषय पर विस्तृत चर्चा की। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार भांग की खेती को वैधता प्रदान करने के सम्बन्ध में सभी की राय एवं सुझावों पर चर्चा के उपरांत राज्य हित में निर्णय लेगी। जगत सिंह नेगी ने कहा कि भांग की खेती के विषय में जन-जन को जागरूक बनाया जाना आवश्यक है ताकि सभी भांग के औषधीय एवं औद्योगिक गुणों से परिचित हो सकें। उन्होंने कहा कि डॉ. यशवंत सिंह परमार बागवानी एवं वानिकी विश्वविद्यालय नौणी, सोलन तथा चौधरी सरवण कुमार कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर, कांगड़ा के माध्यम से प्रदेश में पंचायती राज संस्थाओं के प्रतिनिधियों के लिए इस विषय में प्रशिक्षण शिविर आयोजित किए जाएंगे।

बागवानी मंत्री ने कहा कि वैज्ञानिक परीक्षण यह सिद्ध करते हैं कि भांग की उपयोगिता आर्थिकी का महत्वपूर्ण आधार बन सकती है। उन्होंने कहा कि भांग में पाए जाने वाले सीबीडी (कैनाबीडियोल) का प्रयोग विभिन्न रोगों के उपचार के लिए किया जाता है। उन्होंने कहा कि औद्योगिक रूप से प्रयोग कर भांग के पौधे से कपड़ा, कागज, तेल एवं पेंट इत्यादि बनाया जा सकता है।
जगत सिंह नेगी ने कहा कि नशे के रूप में भांग के दुरुपयोग पर कानून पूर्व की भांति ही रहेंगे और नशे के सौदागरों के विरुद्ध मुहिम को और गति प्रदान की जाएगी। उन्होंने कहा कि सभी चुने हुए प्रतिनिधियों को जन-जन को इस दिशा में जागरूक बनाना होगा कि भांग की उपयोगिता का लाभ उठाकर आर्थिक सशक्तिकरण को और मजबूत किया जा सकता है।
मुख्य संसदीय सचिव सुंदर सिंह ठाकुर ने कहा कि मुख्यमंत्री की व्यवस्था परिवर्तन की सोच को बल मिल रहा है आर्थिकी   मजबूत करने के लिए सरकार नित नए प्रयोग कर रही है इसी कड़ी में भांग की खेती को वैधता प्रदान करने पर तेजी से विचार किया जा रहा है उन्होंने कहा कुल्लू जिला में भांग से लोग कपड़े और जूते बनाते हैं रस्सी बनाते हैं यह एक अति उपयोगी पौधा भी है लोग इसे दवाई के लिए स्थानीय तौर पर इस्तेमाल करते हैं । उन्होंने कहा भांग से कैंसर जैसी गंभीर बीमारी का  इलाज संभव है भांग को लेकर समाज में गलत धारणा है जिसे दूर करना होगा यह पौधा पर्यावरण मित्र भी है।

विधायक केवल सिंह पठानिया ने कहा कि मुख्यमुत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की बड़ी सोच है कि जन भावनाओं के अनुकूल भांग की खेती को वैधता प्रदान करने की संभावना का पता लगाया जाए ।
समिति के सदस्य एंव  विधायक सुरेंद्र शौरी ने कहा कि भांग से जूते, कपड़े भी तैयार किए जाते हैं इससे खेती की उर्वकरता भी बनी रहती है भांग में 400 से अधिक रसायन तत्व पाए जाते हैं। उन्होंने कहा कि भांग की खेती को वैधता प्रदान करने के लिए नीति बनाने की कवायद है और आने वाले समय में यह रोजगार का बड़ा जरिया बनेगी ।

विधायक जनक राज ने कहा कि भांग की खेती से नशे को बढ़ावा नहीं मिलेगा बल्कि लाइसेंस मिलने से नशे पर अंकुश लगेगा । उन्होंने कहा कि  जो बीज लोगों को उपलब्ध करवाया जाएगा उसमें नशे की मात्रा लगभग नगण्य होगी। उन्होंने कहा कि भांग का इस्तेमाल हमारी संस्कृति में सदियों से प्रचलन में है। लोग ठंडे इलाकों में इसके अनेक घरेलू उत्पाद बनाते हैं और अनेक प्रकार की दवाइयों में भी इसका इस्तेमाल होगा।
विधायक पूरन चंद ठाकुर ने कहा कि प्रदेश के अनेक जगहों पर भांग की खेती की अपार संभावनाएं हैं भांग नशे के लिए उपयोग में नहीं लाई जाती बल्कि इसके सैकड़ों उत्पाद बनते हैं जो स्थानीय लोगों की आर्थिकी को मजबूती प्रदान कर सकते हैं।इस दौरान विशेष तौर पर आमंत्रित देवेंद्र कुमार एडवोकेट ने कहा कि बिना नशे की भांग की खेती को प्रोत्साहित किया जायेगा।

Read Previous

अंतिम संस्कार करने गए सैकड़ों लोग बाढ़ में फंसे ,पुलिस व प्रशासन ने दो घंटे बाद किया रेस्क्यू

Read Next

प्रदेश हित में पार्टी विचारधारा से ऊपर उठकर एकजुट प्रयास करें नेता प्रतिपक्ष: मुख्यमंत्री

error: Content is protected !!