News portals-सबकी खबर (चंबा )
पंचायत प्रधान की चाह लिए चुनावी रण में उतरे एक प्रत्याशी को महज अपना ही वोट नसीब हुआ। हिमाचल प्रदेश के चंबा जिलेकी गुवाड़ पंचायत से चुनावी मैदान में उतरे प्रत्याशी का एकमात्र मत मिलने पर अब भले ही प्रचार-प्रसार न करने के तर्क भी सुनने को सामने आ रहे हैं। लेकिन, पंचायत चुनावों में केवल मात्र अपना ही वोट अपने हिस्से आने के इसकी खूब चर्चा हो रही है। पंचायत में 10 उम्मीदवार मैदान में थे, इसमें 279 मत हासिल कर अजय सिंह ने जीत दर्ज की है। गुवाड़ पंचायत से प्रधान बनने की चाह के लिए चमन सिंह मैदान उतरे थे।
पंचायत से करीब 10 उम्मीदवार प्रधान पद के लिए मैदान में थे। लेकिन जब पंचायत का चुनाव परिणाम आया तो प्रत्याशी भी स्तब्ध रह गया कि उसे अपने सिवा परिवार का भी वोट नहीं मिला है। हालांकि प्रत्याशियों ने जीत सुनिश्चित करने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगा दिया। इसमें पोस्टर वार, सोशल मीडिया, गीत-संगीत, विकास संबंधी दावे, डोर टू डोर प्रचार-प्रचार अभियान शामिल रहा। हर प्रत्याशी किसी भी सूरत में चुनावी रण में हार का सामना नहीं देखना चाह रहा था। बावजूद इसके दस प्रत्याशियों में शामिल चमन सिंह को एक ही वोट मिला है, जिसकी हर जगह चर्चा हो रही है।
उधर, हाई प्रोफाइल प्रचार के बावजूद पंचायत चुनाव में जहां कई उम्मीदवार हार गए, वहीं बिना प्रचार किए एक कोरोना पॉजिटिव महिला ने प्रधान पद का चुनाव जीत लिया है। हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले के धर्मशाला ब्लॉक की शीला-भटेहड़ पंचायत में प्रधान पद की उम्मीदवार सुमन बाला कोरोना संक्रमित होने के कारण घर-घर जाकर प्रचार नहीं कर पाई थीं, लेकिन जब परिणाम आया तो जीत का सेहरा उनके सिर सज चुका था।
हालांकि, सुमन के लिए उनके पति ने जरूर लोगों से वोट मांगे थे। अन्य उम्मीदवारों की तरह सुमन खुद प्रचार के लिए नहीं जा सकी थीं। शीला-भटेहड़ पंचायत में मंगलवार को 87.4 प्रतिशत मतदान हुआ था और 873 लोगों ने वोट डाला था। इनमें सुमन बाला ने 873 में से 347 वोट लेकर दूसरी प्रत्याशी को 92 मतों से हराया है। सुमन बाला ने पंचायत की जनता और पति का जीत का सेहरा बांधने के लिए धन्यवाद किया है।
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