Breaking News :

मौसम विभाग का पूर्वानुमान,18 से करवट लेगा अंबर

हमारी सरकार मजबूत, खुद संशय में कांग्रेस : बिंदल

आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद 7.85 करोड़ रुपये की जब्ती

16 दिन बाद उत्तराखंड के त्यूणी के पास मिली लापता जागर सिंह की Deadbody

कांग्रेस को हार का डर, नहीं कर रहे निर्दलियों इस्तीफे मंजूर : हंस राज

राज्यपाल ने डॉ. किरण चड्ढा द्वारा लिखित ‘डलहौजी थू्र माई आइज’ पुस्तक का विमोचन किया

सिरमौर जिला में स्वीप गतिविधियां पकड़ने लगी हैं जोर

प्रदेश में निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण निवार्चन के लिए तैयारियां पूर्ण: प्रबोध सक्सेना

डिजिटल प्रौद्योगिकी एवं गवर्नेंस ने किया ओएनडीसी पर क्षमता निर्माण कार्यशाला का आयोजन

इंदू वर्मा ने दल बल के साथ ज्वाइन की भाजपा, बिंदल ने पहनाया पटका

November 24, 2024

शिलाई में 300 करोड़ रुपए का घोटाला का आरोप सरासर झूठ – प्रधान परिषद शिलाई

विधानसभा में उठाए गए सवालों की शिलाई के पूर्व विधायक बलदेब तोमर ने कड़े शब्दों में निंदा की।

News portals-सबकी ख़बर(शिलाई)

प्रदेश विधानसभा में विधायक हर्षवर्धन चौहान द्वारा उठाए गए मनरेगा में धांधलियों का मुद्दा गरमाया रहा। जिसमे बुधवार को प्रधान परिषद शिलाई की आपातकालीन बैठक इकाई के अध्यक्ष रमेश चौहान की अध्यक्षता में हुई। बैठक में दो दर्जनों के करीब सदस्यों ने भाग लिया। इस बैठक में प्रधान परिषद ने जारी ब्यान में कहा है कि विधायक हर्षवर्धन चौहान एक सुलझे हुए विधायक हैं और उन्हें सदन में इस तरह की गलत रिपोर्ट पेश करना शोभा नहीं देता।

अध्यक्ष रमेश चौहान ने बताया कि प्रदेश विधानसभा में खंड के अंदर 300 करोड़ रुपए का घोटाला बताया है, जो सरासर झूठ है। विकास खंड शिलाई में वितीय वर्ष 2005-06 से दिसम्बर 2020 तक मनरेगा योजना के अंतर्गत कुल बजट 91,32,24,580 रुपए खर्च हुआ है, जबकि 14वें वितायोग के तहत पिछले 4 वर्षों में लगभग 12 करोड के विकास कार्य करवाए गए हैं। इसलिये विधायक को हास्यपद व तथ्यहीन जानकारी देने से पहले खुद जानकारी रखनी चाहिए। परिषद ने कहा कि पिछले 15 वर्षों में 10 वर्ष हर्षवर्धन चौहान विधायक रहे, यदि इतना अधिक घोटाला हो रहा था तो अपने कार्यकाल मे क्यों मूकदर्शक बने रहे। प्रदेश के मुख्यमंत्री ने विजिलेंस जांच के आदेश दिये हैं जिससे वास्तविकता सामने आ जाएगी।

अध्यक्ष ने चुटकी लेते हुए कहा है कि विधायक महोदय को पूरी तैयारी करके विधानसभा सत्र जाना चाहिए। आज ऑनलाइन रिकॉर्ड है, फ़िर भी सही जानकारी नहीं है। तथ्यहीन बातें बोलने से अच्छा है कि विधायक क्षेत्र की ज्वलंत समस्याएं विधानसभा में उठाते, विकास की बात रखते तो जनता आहत न होती। पिछले 6 माह से शिलाई में तहसीदार नहीं है, विभिन्न विभागों में अधिकारी, कर्मचारियों के सैंकडों पद रिक्त पड़े हैं इसपर विधायक ने कुछ नहीं कहा तथा विकासात्मक कार्यों में खर्च किये गए बजट को रिकार्ड से तीन गुना अधिक बता दिया।

प्रधान परिषद का कहना है कि आश्चर्य यह है इतना पैसा जब खर्च नहीं हुआ तो घोटाला कैसे हो गया है। यदि फ़िर भी हुआ है तो हर्षवर्धन चौहान इससे पहले के अपने कार्यकाल व प्रदेश में कांग्रेस की सरकार के समय क्यूं भ्रष्टाचार करवाते रहे है। उस समय क्यूं मामले को नहीं उठाया गया है। यह सब क्षेत्र के लोगो को गुमराह करके राजनिती का नया तरीका नजर आ रहा है, जिसकी प्रधान परिषद कडी निन्दा करती है। परिषद बैठक में पाब मानल, नैनीधार, शिलाई, क्यारी गुंडाह, बालीकोटी, द्रबिल, नाया, बेला पंचा पंचायतों के प्रधान सहित अन्य सदस्य मौजूद रहे।

क्या बोले शिलाई के पूर्व विधायक व खाद्य आपूर्ति निगम के उपाध्यक्ष व भाजपा प्रदेश प्रवक्ता बलदेब तोमर |

शिलाई विधानसभा क्षेत्र के विधायक द्वारा विधानसभा में उठाए गए सवालों की शिलाई के पूर्व विधायक बलदेब तोमर ने कड़े शब्दों में निंदा की है। शिलाई के पूर्व विधायक व खाद्य आपूर्ति निगम के उपाध्यक्ष व भाजपा प्रदेश प्रवक्ता बलदेब तोमर ने कहा कि शिलाई के विधायक हर्षवर्धन चौहान विना किसी तैयारी के विधानसभा में जाते हैं और वहां पर ऐसे सवाल पूछते है जिसका कोई सिर पाव नही होता है।
शिलाई के विधायक हर्षवर्धन चौहान विधानसभा में समय बर्बाद कर रहे हैं और जो वह वह बाटे रख रहे हैं वह एक भी बात तथ्य से परे है। तोमर उन्होंने कहा कि अगर शिलाई में मनरेगा में 300 करोड़ रुपए का घोटाला हुवा है तो हर्षवर्धन ने 2012 से 2017 तक कांग्रेस की सरकार थी। वह सरकार में थे तो उस समय अपने जांच क्यों नही करवाई तब आप कह सो रहे थे। ऐसे में विधायक हर्ष वर्धन विधानसभा में अपना समय व्यर्थ गंवा रहे है ।

Read Previous

जे एंड के में मासूम बच्चों की जान लेने वाले दवा उद्योग पर कार्रवाई |

Read Next

25 लाख ठगने वाला आरोपी को अदालत ने भेजा 5 दिन के पुलिस रिमांड पर ।

error: Content is protected !!