News portals-सबकी खबर (शिलाई ) उद्योग एवं संसदीय मामले मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने अपने शिलाई विधानसभा क्षेत्र प्रवास कार्यक्रम के तीसरे दिन आज राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला शिलाई के वार्षिक समारोह में बतौर मुख्यातिथि शिरकत की। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि स्कूल शिक्षा का मंदिर होते हैं हमें स्कूलों में भी मंदिर की तरह आचरण तथा साफ़ सफाई का पूर्ण ध्यान रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि बच्चे स्कूलों में पढ़ने के साथ-साथ अपना व्यक्तित्व का निर्माण भी करते हैं जो भविष्य में समाज के लिए उनकी साझेदारी दर्शाता है।
उद्योग मंत्री ने कहा कि बच्चों को आज उनके पाठ्यक्रम की किताबों के साथ साथ अन्य जानकारी भी हासिल करना ज़रूरी है बच्चों को अन्य किताबें तथा अख़बार पढ़ने का शौक़ डालना चाहिए। उन्हें पढ़ाई के साथ साथ खेलकूद प्रतियोगिताओं में भी भाग लेना चाहिए उन्होंने कहा कि आज हमारे क्षेत्र के कई बच्चों ने खेल में अपना तथा क्षेत्र नाम रोशन किया है।
उन्होंने कहा कि बच्चों को हर क्षेत्र में आगे आना चाहिए ताकि उनके व्यक्तित्व का पूर्ण निर्माण हो सके। उन्होंने कहा एक दिन की मेहनत से नहीं बल्कि कड़ी मेहनत से लोग जीवन में कामयाब होते हैं।
हर्षवर्धन चौहान ने युवाओं का आह्वान किया कि यदि उन्हें जीवन में आगे बढ़ना है तो अपने आप को नशे की बुराई से दूर रखना होगा। उन्होंने कहा कि नशे के सेवन से न केवल शारीरिक व मानसिक बल्कि व्यक्तित्व का भी पतन होता है। उन्होंने कहा समझ में नैतिक मूल्य का होना बहुत जरूरी है और इसके लिए युवाओं को अपने गुरुओं का तथा बड़े बुजुर्गों का आदर सत्कार करने की भावना को अपने आप में जागृत करने की जरूरत है। उन्होंने अध्यापकों तथा अभिभावकों से भी बच्चों में अच्छे गुणों का संचार करने की अपील की।
उन्होंने कहा कि एक समय था जब उच्च शिक्षा ग्रहण करने के लिए बच्चों को नाहन कॉलेज जाना पड़ता था परंतु आज हर विधानसभा क्षेत्र में कॉलेज है। उन्होंने कहा कि शिलाई विधानसभा क्षेत्र में रोनहाट तथा कफोटा में बच्चों को उच्च शिक्षा ग्रहण करने के लिए कॉलेज मौजूद है। उद्योग मंत्री ने कहा कि बच्चों की शिक्षा के लिए आज हर गाँव में वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला है अन्यथा हाई स्कूल मौजूद है। उन्होंने कहा की एक रिपोर्ट के मुताबिक़ पहले सरकारी स्कूलों में 80 प्रतिशत विद्यार्थी पड़ते थे वहीं निजी स्कूलों में 20 प्रतिशत विद्यार्थी जाते थे परंतु आज 46 प्रतिशत बच्चे सरकारी स्कूलों में तथा 44 प्रतिशत बच्चे निजी स्कूलों में पढ़ रहे हैं।
उन्होंने कहा कि अध्यापकों के शहरों की तरफ पलायन के कारण गांव के स्कूलों में अध्यापकों की कमी हुई है साथ ही इसका मुख्य कारण पिछली सरकार ने अध्यापकों की भर्ती भी नहीं की। उन्होंने कहा कि आज प्रदेश में मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू की सरकार है जिनका मुख्य उद्देश्य प्रदेश को हर क्षेत्र में आगे ले जाना है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में जल्द ही 6500 अध्यापकों की भर्ती की जाएगी। जिसके माध्यम से दूरदराज में रिक्त पड़े अध्यापकों के पदों को भरा जाएगा। उद्योग मंत्री ने कार्यक्रम के दौरान श्रीनिवास रामानुजन छात्र डिजिटल योजना के तहत बच्चों को 101 टैबलेट भी प्रदान किये। उन्होंने राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला शिलाई के खेल मैदान में टाइलें लगाने तथा एक अतिरिक्त हॉल बनाने की घोषणा की।
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