News portals-सबकी खबर (संगड़ाह)
नागरिक उपमंडल मुख्यालय संगड़ाह मे सिविल अथवा ज्युडीशियल कोर्ट तथा विद्युत मंडल कार्यालय खोले जाने की मांग को लेकर एसवीएम द्वारा मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को फिर से मांग पत्र भेजा गया। संगड़ाह विकास मंच के संयोजक रविदत्त शर्मा ने मंगलवार को ईमेल से भेजे गए उक्त पत्र की प्रति के साथ जारी बयान मे कहा कि, पिछले दो विधानसभा चुनाव में क्षेत्र के सभी दलों के उम्मीदवारों द्वारा उक्त मांग पूरी करने के आश्वासन दिए गए, मगर सत्ता मिलने के बाद किसी भी दल की सरकार ने यह चुनावी वादा पूरा नहीं किया। 4, मई, 2012 को संगड़ाह को नागरिक उपमंडल का दर्जा मिलने अथवा यहां एसडीएम कार्यालय खुलने के बाद हालांकि यहां डीएसपी अथवा उपमंडलीय पुलिस अधिकारी कार्यालय खुल चुका है, मगर ज्युडीशियल अथवा कोर्ट, एपीआरओ व विद्युत विभाग के अधिशासी अभियंता कार्यालय आदि उपमंडल स्तर के संस्थान नेताओं की घोषणाओं के बावजूद शुरू नहीं हो पाए।
गत वर्ष नवंबर माह मे सीएम जयराम ठाकुर ने नौहराधार व रेणुकाजी प्रवास के दौरान संगड़ाह में विद्युत विभाग के मंडल अथवा अधिशासी अभियंता कार्यालय खोलने के अलावा सरकार द्वारा यहां ज्युडीशियल कोर्ट खोलने की प्रक्रिया शुरू करने की बात भी कही थी। उक्त लंबित मांगों अथवा घोषणाओं को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री को भी कईं ज्ञापन सौंप चुके संगड़ाह विकास मंच व व्यापार मंडल आदि स्थानीय संगठनों के पदाधिकारियों तथा पंचायत प्रतिनिधियों ने यहां जारी बयान में कहा कि, वर्तमान मुख्यमंत्री को इस बारे 9वीं बार मांग पत्र भेजा गया हैं। उक्त चिट्ठियों की प्रतियां भाजपा के राष्ट्रीय व प्रदेश अध्यक्ष के अलावा उच्च न्यायालय को भी भेजी जा चुकी है।
उन्होंने कहा कि, साथ लगते उपमंडल मुख्यालय शिलाई में हालांकि एसडीएम कोर्ट संगड़ाह के करीब दो साल बाद शुरू हुआ, मगर यहां वर्तमान प्रदेश सरकार द्वारा 2 साल पहले सिविल कोर्ट खोला जा चुका है। अदालत संबंधी कार्यों के लिए पुलिस उपमंडल संगड़ाह की एक लाख के करीब आबादी को करीब 60 किलोमीटर दूर जिला मुख्यालय नाहन के चक्कर काटने पड़ते हैं तथा एक पेशी पर जाने के लिए 2 दिन का समय लग जाता है। प्रदेश उच्च न्यायालय द्वारा गत 11, जुलाई, 2018 को संगड़ाह विकास मंच को भेजे गए एक जवाबी पत्र में कहा गया है की, संगड़ाह में सिविल कोर्ट खोले जाने की प्रपोजल पहले ही प्रदेश सरकार को भेजी जा चुकी है, जिस पर हिमाचल सरकार द्वारा आगामी कार्यवाही की जानी है। बहरहाल गत दो विधानसभा चुनाव में हिमाचल को पहला मुख्यमंत्री देने वाले इस हल्के में मुख्य मुद्दा रही सिविल कोर्ट तथा विद्युत मंडल कार्यालय खोलने की मांगे पूरी होना शेष हैं।
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