22 घंटे तक खुला रहेगा दरबार
News portals-सबकी खबर (कांगड़ा)
नवरात्र में प्रसिद्ध शक्तिपीठ नयनादेवी का दरबार नवरात्र में 22 घंटे तक खुला रहेगा। रात 12 से दो बजे तक ही मंदिर के कपाट बंद रहेंगे। वहीं अन्य मंदिर सुबह पांच बजे से खुलेंगे। एसओपी के चलते श्रद्धालुओं के गर्भगृह में जाने पर रोक रहेगी। श्रद्धालु मंदिरों में न तो प्रसाद चढ़ा पाएंगे और न लंगर लगेंगे।श्रद्धालु पंजीकरण के साथ सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क और सैनिटाइजेशन की अनिवार्यता को पूरा करने के बाद ही मंदिरों में प्रवेश कर सकेंगे। सिरमौर का बालासुंदरी मंदिर हर घंटे सैनिटाइज होगा।
शक्तिपीठ ज्वालाजी, चामुंडा, बज्रेश्वरी देवी, माता नयना देवी, चिंतपूर्णी और मां बालासुंदरी मंदिर में तैयारियों ने जोर पकड़ लिया है। बज्रेश्वरी देवी कांगड़ा मंदिर के कपाट सुबह पांच बजे खुल जाएंगे। सुबह और शाम सात बजे आरती होगी।चामुंडा नंदिकेश्वर धाम में हलवा या अन्य गीला प्रसाद चढ़ाने पर प्रतिबंध रहेगा। सूखा प्रसाद श्रद्धालु माता के दर्शन करते समय साथ रख वापस अपने घर ले जा सकेंगे।
चिंतपूर्णी में अभी सुबह आठ बजे कपाट खुल रहे हैं। नवरात्र को लेकर अभी फैसला होना बाकी है। शिमला के तारादेवी मंदिर में सुबह 6 बजे से मां के दर्शन की व्यवस्था जारी रहेगी। कालीबाड़ी मंदिर में सुबह 6:30 बजे से दर्शन होंगे। रात साढ़े 9 बजे मंदिर बंद होगा।
ज्वालाजी में मंदिर के अंदर नारियल नहीं ले जा पाएंगे। प्रसाद भी मुख्य मंदिर में रखे ड्रम में डाला जाएगा। मंदिर में श्रद्धालु सुबह 6 से रात 10 बजे तक दर्शन कर सकते हैं।मां ज्वाला की पांच बार आरती होगी। पंजीकरण व्यवस्था भी पहले की तरह पुराने बस स्टैंड की पार्किंग में ही होगी। मुंडन संस्कार फिलहाल बंद रहेंगे। एसडीएम धनवीर ठाकुर ने बताया कि कोरोना काल में नवरात्र के दौरान श्रद्धालुओं को एसओपी के तहत सुविधाजनक दर्शन करवाए जाएंगे।
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