News portals-सबकी खबर (शिमला)
सरकार प्रदेश में एंटीबॉडी पकड़ने वाला एलीजा टेस्ट करवाएगी, ताकि पता चल सके कि कोरोना संक्रमण कितना फैला है।एजीजा टेस्ट में इनसान की अंगुली से खून की एक बूंद ली जाती है, जिसे एलीजा प्लेट में डाला जाता है। इन प्लेट्स पर एक तरह की कोडिंग की जाती है, जिस इनसान के शरीर में किसी तरह के एंटीबॉडी बने होंगे, तो प्लेट में की गई कोडिंग का रंग बदल जाएगा, जिससे पता चल जाएगा कि इनसानी शरीर किसी बीमारी से लड़ रहा है।
सरकार दिल्ली सरकार के अपनाए तरीके पर ये टेस्ट लेगी। इस टेस्ट की कीमत 90 रुपए होगी। प्रदेश सरकार लोगों के ये टेस्ट फ्री में करेगी, जबकि जो लोग नेगेटिव आएंगे, उन्हें बाकायदा प्रमाण पत्र भी दिया जाएगा|जिसके बाद वे कहीं भी आसानी से आ जा सकते हैं।पहले चरण में फ्रंट लाइन वारियरर्स के टेस्ट होंगे। उसके बाद अन्य लोगों के टेस्ट लिए जाएंगे।सितंबर के पहले सप्ताह से प्रदेश में ये टेस्ट शुरू हो जाएंगे। उस टेस्ट किट को पुणे स्थित नेशनल इंस्टीच्यूट ऑफ बायोलॉजी ने इजाद किया है। किट पूरी तरह से स्वदेशी है।
किट के जरिए घनी आबादी वाले क्षेत्रों में कोरोना संक्रमित मरीजों का पता लगाया जा सकता है। टेस्ट को करने की प्रक्रिया भी सरल है। नाक और गले के अंदर से किसी भी तरह का सैंपल नहीं लिया जाता है। सरकार ने अभी इन टेस्ट किटों का आर्डर किया है, जो जल्द ही हिमाचल पहुंच जाएगी |अतिरिक्त मुख्य सचिव स्वास्थ्य आरडी धीमान का कहना है कि प्रदेश में अब एंटीबॉडी टेस्ट करवाए जाएंगे, ताकि पता चल सके कि संक्रमण कितना फैला है। इसके अलावा प्रदेश की घनी आबादी वाले इलाकों और फ्रंट लाइन वारियर्स के टेस्ट पहले किए जाएंगे।
Recent Comments