News portals-सबकी खबर(नाहन)
प्रदेश में बाल अधिकारों के संरक्षण के लिए सभी साझाधारकों के सक्रिय प्रयासों की आवश्यकता है। यह वाक्य आज अध्यक्षा राज्य बाल आयोग वंदना योगी ने नाहन के बचत भवन में जिला बाल सरक्षण इकाई सिरमौर की ओर से आयोजित बाल संरक्षण से जुडे साझाधारकों के लिए एक दिवसीय कार्यशाला के दौरान उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए कहा।
उन्होंने कहा कि सभी साझाधारकों के आपसी समन्वय और सहयोग से बाल अधिकारों की रक्षा संभव हो सकेगी। उन्होंने कहा कि बाल मजदूरी से बच्चों को मुक्त कराना और गरीब परिवारों को सरकारी योजनाओं से जोड़ना और सरकारी योजनाओं के प्रति जागरूक करना भी बाल सरक्षण इकाई का महत्वपूर्ण कार्य है।
उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास बाल विवाह के खिलाफ लोगों को जागरूक करना और बाल विवाह की सूचना मिलने पर तत्कालीन कदम उठाना हमारी प्राथमिकता होनी चाहिए ताकि समाज में बाल विवाह जैसी कुप्रथा को रोका जा सके और जिला में चाइल्ड हेल्पलाइन सेवाओं को और अधिक व्यापक बनाने पर बल दिया। इस कार्यशाला में चेयरमैन सीडब्ल्यूसी सिरमौर अभय कांत अग्रवाल ने किशोर न्याय देखरेख और संरक्षण अधिनियम 2015, मेडिकल ऑफिसर निसार अहमद ने गर्भधारण पूर्व एवं प्रसव पूर्व निदान तकनीक अधिनियम 1994, सुपरवाइजर धीरज पुंडीर ने बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006, सब इंस्पेक्टर विद्यासागर नेगी ने पोस्को एक्ट 2012, लेबर इंस्पेक्टर भूपेश शर्मा ने चाइल्ड लेबर प्रोहिबिशन एंड रेगुलेशन अमेंडमेंट एक्ट 2016, पिं्रसिपल गवर्नमेंट सीनियर सेकेंडरी स्कूल बलबीर शर्मा ने शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 के विभिन्न पहलुओं के बारे में अवगत कराया।
इसके अतिरिक्त सचिव जिला विधिक सेवाएं प्राधिकरण धीरू ठाकुर ने उपस्थित सभी अधिकारियों व कर्मचारियों को कार्यशाला में बाल संरक्षण नियमों के सभी कानूनी पक्ष की जानकारी दी।
इससे पूर्व उपायुक्त सिरमौर रामकुमार गौतम ने अध्यक्षा राज्य बाल आयोग वंदना योगी को टोपी भेंट कर स्वागत किया। उपायुक्त ने कहा कि जिला सिरमौर में बाल अधिकारों के संरक्षण के लिए व्यापक कदम उठाए जाएंगे।
इस अवसर पर जिला कार्यक्रम अधिकारी राजेंद्र नेगी ने कार्यशाला में उपस्थित लोगों का स्वागत किया और क्रमवार सभी मद प्रस्तुत किए उन्होंने जिला सिरमौर में महिला एवं बाल विकास द्वारा चलाई जा रही विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के बारें में विस्तार से जानकारी दी।
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