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प्रदेश सरकार की कैबिनेट ने भले ही प्री-प्राइमरी की भर्ती को मंजूरी दे दी है, लेकिन उसके बाद भी चुनाव से पहले ये भर्तियां नहीं हो सकेंगी। कारण यह कि भर्ती के लिए अपनाई जाने वाली प्रकिया में अभी समय लगेगा। हिमाचल प्रदेश राज्य इलेक्ट्रॉनिक्स विकास निगम को भर्ती का जिम्मा दिया गया है और भर्ती के लिए अपनाई जाने वाली प्रकिया में अभी समय लगेगा। प्रदेश में कितनी ऐसी महिलाएं है, जिनका डिप्लोमा एक या दो साल का है।
इसके साथ ही इन्हें ब्रिज कोर्स या शॉट टर्म कोर्स कैसे करवाया जाएगा, यह भी तय होना है। ऐसे में साफ है कि 10 अक्तूबर तक प्रदेश में यदि चुनाव आचार सहिंता लगती है, तो स्कूलों में प्री-प्राइमरी पदों पर उसके बाद ही भर्तियां होंगी। लंबे समय से एनटीटी प्रशिक्षु स्कूलों में भर्तियों का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन अभी इन्हें स्कूलों में भर्ती के लिए इंतजार करना होगा। हालांकि इसमें कैबिनेट ने यह तय कर दिया है कि
इन्हें नौ हजार रुपए मासिक वेतन दिया जाएगा।
साथ ही एनसीटीई के तहत दो साल का डिप्लोमा ही मान्य होगा, लेकिन एक साल का एनटीटी डिप्लोमा को भी सरकार मान्य करेगी। आर एंड पी रूल के तहत इनकी मान्यता को पूरा करने के लिए शॉट टर्म और ब्रिज कोर्स करवाए जाएंगे। इसके साथ ही यह भी तय किया गया है कि ये भर्तियां आउटसोर्स के माध्यम से की जाएंगी, लेकिन जब तक आर एंड पी रूल तय नहीं होते, तब तक ये भर्तियां हिमाचल प्रदेश राज्य इलेक्ट्रॉनिक्स विकास निगम (एचपीएसईडीसी) के माध्यम से होगी। इस बारे में एनटीटी की प्रदेश अध्यक्ष वदंना का कहना है कि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से भी व मिले थे और अब सरकार ने उनकी मांग को पूरा किया है। उम्मीद है जल्द ही स्कूलों में एनटीटी की भर्ती हो जाएगी।
जेबीटी चला रहे प्री-प्राइमरी कक्षाएं
वर्तमान में प्रदेश के 3840 स्कूलों में अभी प्री-प्राइमरी कक्षाएं चल रही हैं। इनको जेबीटी ही पढ़ा रहे हैं। प्री-प्राइमरी कक्षाएं शुरू हुए तीन साल से अधिक का समय हो गया है, लेकिन अभी तक इन कक्षाओं को पढ़ाने के लिए स्थायी शिक्षकों की नियुक्ति नहीं हो सकी है। ऐसे में उम्मीद है कि इस साल के अंत प्री-प्राइमरी के बच्चों को स्थायी शिक्षक मिल जाएंगे।
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