News portals-सबकी खबर (संगड़ाह)
गिरिपार को अनुसूचित जनजाति क्षेत्र का दर्जा देने की मांग कर रही हाटी समिति द्वारा 17 अप्रैल को संगड़ाह मे आयोजित किए जा रहे चौथे महाखुमली सम्मेलन की तैयारियां पूरी हो चुकी है। सम्मेलन के आयोजन को लेकर शुक्रवार को पंचायत भवन संगड़ाह मे समिक्षा बैठक का आयोजन किया गया। बैठक मे मौजूद हाटी समिति संगड़ाह ब्लॉक इकाई के अध्यक्ष रविंद्र चौहान, कांग्रेस मंडल अध्यक्ष तपेंद्र चौहान, किसान सभा जिला सिरमौर अध्यक्ष रमेश वर्मा व समिति की खंड इकाई के पदाधिकारी मनोज कमल, राजेंद्र सिंह, सुंदर सिंह व हेम चंद आदि ने बताया कि, महाखुमली सम्मेलन की तैयारियां पूरी हो चुकी है तथा चंदा राशि भी एकत्र की जा चुकी है।
शुक्रवार को संगड़ाह ब्लॉक के तहसील मुख्यालय नौहराधार मे केंद्रीय हाटी समिति अध्यक्ष डॉ अमीचंद कमल की मौजूदगी में सम्मेलन की तैयारी को लेकर बैठक हुई। इससे पूर्व गुरुवार को समिति अध्यक्ष डॉ अमीचंद कमल अंबेडकर जयंती समारोह मे संगड़ाह पंहुचे प्रदेश भाजपा अध्यक्ष एवं सांसद सुरेश कश्यप को भी इस सम्मेलन के लिए औपचारिक निमंत्रण दे चुके हैं। इससे पूर्व गिरिपार के अंतर्गत आने वाले रोनहाट, पझोता व शिलाई में वर्तमान प्रदेश सरकार के कार्यकाल मे हाटी समिति महाखुमली सम्मेलन से शक्ति प्रदर्शन चुकी है। हाटी समिति पदाधिकारियों ने संगड़ाह मे होने वाले सम्मेलन मे गिरिपार के विकास खंड शिलाई, राजगढ़, तिल्लोरधार व संगड़ाह आदि क्षेत्रों की सभी 144 पंचायतों से लोगों को आमंत्रित किया है। समिति पदाधिकारियों ने बताया कि, सम्मेलन की तैयारियां पूरी हो चुकी है। गौरतलब है कि, वर्ष 1967 में तत्कालीन यूपी के जौंसार इलाके को जनजातीय दर्जा मिलने के बाद से सिरमौर जिला की करीब 3 लाख की आबादी वाले गिरिपार के निवासी लगातार अनुसूचित जनजाति की मांग कर रहे हैं। तब से अब तक क्षेत्र मे लगभग हर विधानसभा व लोक सभा चुनाव मे क्षेत्र मे यह मांग मुख्य मुद्दा ही है, मगर अब तक पूरी नही हुई। हाल ही एक बार फिर हिमाचल के गिरिपार व डोडरा-क्वार क्षेत्र की जनजातीय दर्जे की मांग को तकनीकी खामियों का हवाला देकर केंद्र सरकार के जनजातीय मंत्रालय द्वारा खारिज किए जाने की जानकारी एक सांसद के सवाल के जवाब मे दी गई |
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