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हिमाचल प्रदेश में फरवरी में बनी अल्सर और कोलेस्ट्रॉल समेत 10 दवाओं के सैंपल फेल हो गए हैं। केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रक संगठन ने फरवरी में 1221 दवाओं के सैंपल लिए थे। इनमें देश के अन्य राज्यों में बनी 30 दवाओं के सैंपल भी मानकों पर सही नहीं पाए गए। प्रदेश के ड्रग कंट्रोलर नवनीत मरवाह ने बताया कि प्रदेश की जिन दस दवाओं के सैंपल फेल हुए हैं। उनमें छह दवाएं सोलन और चार दवाएं सिरमौर जिले में बनी हैं।
बताया जा रहा है कि इनमें दर्द, उल्टी, संक्रमण, हार्ट अटैक, अल्सर, कोलेस्ट्रॉल की दवाएं शामिल हैं। सोलन जिले में सैणी माजरा स्थित थ्योन फार्मा की दर्द की दवा बोमेलेन ट्रिस्पिन रूटोसाईड, बद्दी के मखूमान माजरा स्थित अंग लाइफ साइंस की उल्टी की दवा डोमपेरिडन, बद्दी के भटोली कलां स्थित स्कॉटाडिल एडवांस रिसर्च कंपनी की संक्रमण की दवा मेरोपेन, बरोटीवाला में पुष्कर फार्मा की हार्ट अटैक से बचाव के इंजेक्शन पिनाईटोइन सोडियम, पांवटा साहिब की फार्मा फोरस लैब की अल्सर की सुखरालफेट एंड ऑक्सीटासाइन दवा के दो सैंपल फेल हुए हैं।
वही बद्दी के काठा स्थित ओजोन फार्मास्युटिकल कंपनी की कोलेस्ट्रॉल की दवा ओजोवास, सिरमौर की एडिसन फार्मा कंपनी की अल्सर की दवा एसोमेपराजोल, पांवटा साहिब के लैबोरेट फार्मास्युटिकल की संक्रमण की दवा एंब्राक्सोल डोक्सीसाइक्लिन और बद्दी के झाड़माजरी स्थित श्री राम हेल्थ केयर कंपनी की अल्सर की दवा पेंटाप्रोजोल रजिस्टेंट के सैंपल फेल हुए हैं। इसके अलावा उत्तराखंड के आठ, तेलंगाना के चार, गुजरात के तीन, पंजाब-सिक्कम-बिहार-बेंगलूर-मध्य प्रदेश का एक-एक, चेन्नई-हरियाणा-महाराष्ट्र के दो-दो सैंपल फेल हुए। एक सैंपल मिस ब्रांडेड पाया गया।
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