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प्रदेश के अस्पतालों, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में सरप्लस स्टाफ का तबादला किया जाएगा। अस्पताल प्रशासन और मुख्य चिकित्सा अधिकारी से सरप्लस स्टाफ की सूची मिलने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने छंटनी प्रक्रिया शुरू कर दी है।कोरोना के चलते सरकार ने स्वास्थ्य विभाग के 75 फीसदी स्टाफ को फील्ड में सेवाएं देने के लिए कहा है।
अस्पतालों की ओपीडी और मरीजों के ऑपरेशन करने के लिए 25 फीसदी डॉक्टर और पैरा मेडिकल स्टाफ अस्पतालों व कार्यालय में रहेगा। एमबीबीएस डॉक्टरों के साथ सीनियर डॉक्टर भी फील्ड में जाकर कोरोना आइसोलेट मरीजों की घर पर जांच करेंगे। प्रदेश में लगातार कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं। बताया जा रहा है कि स्वास्थ्य विभाग और अस्पतालों में 300 से अधिक डॉक्टर, स्टाफ नर्स, फार्मासिस्ट व अन्य कर्मचारी सरप्लस हैं। ये काफी समय से एक ही स्थान या फिर घरों के पास डटे हैं। इन्हें अब जरूरत के अनुसार बदला जाएगा।
हजारों की संख्या में कोरोना मरीज घरों में आइसोलेट हैं। कोरोना पर काबू पाने और व्यवस्था जांचने के लिए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, मंत्री फील्ड में गए थे। इस दौरान स्टाफ की कमी के बारे में उन्हें अवगत कराया गया था। स्वास्थ्य सचिव अमिताभ अवस्थी ने बताया कि सरप्लस स्टाफ को इधर-उधर किया जा रहा है। सरकार के पास इन कर्मचारियों की लिस्ट पहुंच गई है। कोरोना के चलते स्वास्थ्य कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द की गई हैं। विशेष परिस्थितियों में ही स्वास्थ्य कर्मियों को छुट्टी दी जाएगी।
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