News Portals – सबकी खबर (पांवटा साहिब)
गरीब ई-रिक्शा चालक अपने बच्चों की फीस कैसे जमा करवाएंगे। बीमार पत्नी के उपचार को भी पैसे नहीं हैं। सरकार को एकदम से ई-रिक्शा इस तरह से बंद नहीं करने चाहिए। यह बात पांवटा साहिब में ई-रिक्शा चालकों से बैठक के दौरान जनवादी महिला समिति की प्रदेश अध्यक्षा संतोष कपूर ने कही। उन्होंने ई-रिक्शा चालकों से बातचीत कर उनकी समस्या जानी और सरकार के समक्ष आवाज बुलंद करने का आश्वासन दिया। साथ ही पांवटा साहिब पहुंचे निदेशक परिवहन निगम कैप्टन जेएम पठानिया को एक ज्ञापन सौंपा।
इस दौरान समिति राज्य अध्यक्षा एवं जिला परिषद सदस्य संतोष कपूर ने कहा कि ई-रिक्शा बंद होने से सैकड़ों परिवार की रोजी-रोटी छिन गई है। इस रोजगार से जुड़े लोगों के घरों में चूल्हे नहीं जल रहे हैं। वह अपने बच्चों की फीस नहीं दे पा रहे। बीमार परिजनों का उपचार नहीं करवा पा रहे, लेकिन सरकार पॉलिसी बनाने की बात कहकर इन गरीबों के पेट पर लात मार रही है। उन्होंने कहा कि यदि सरकार ने जल्दी ही पॉलिसी बनाकर ई-रिक्शा शुरू नहीं किए तो समिति संघर्ष करने पर मजबूर हो जाएगी।
गौर हो कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद सरकार ने प्रदेश में पॉलिसी बनने तक ई-रिक्शा पर पूर्ण रूप से प्रतिबंध लगा दिया है। पांवटा साहिब में भी पिछले 15 दिन से ई-रिक्शा बंद है। आरटीओ विभाग इस बारे पॉलिसी निर्माण में लगा हुआ है, लेकिन जब तक पॉलिसी नहीं बनी ई-रिक्शा को चलाए रहने दो, ताकि गरीब लोग अपने लिए दो वक्त की रोटी कमा सके। उधर इस बारे निदेशक परिवहन कैप्टन जेएम पठानिया ने बताया कि ई-रिक्शा के लिए जल्द पॉलिसी का निर्माण किया जा रहा है। सरकार भी इस दिशा में गंभीर है।
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